IAF के समूह कप्तान शुभांशु शुक्ला इतिहास रचने को तैयार, भारत के लिए होगी बड़ी उपलब्धि
भारतीय वायु सेना (IAF) के समूह कप्तान शुभांशु शुक्ला इतिहास रचने के लिए तैयार हैं, क्योंकि वह चार दशकों के बाद अंतरिक्ष यात्रा करने वाले पहले भारतीय अंतरिक्ष यात्री बनेंगे।
महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा मिशन
शुभांशु शुक्ला मई में अक्सियम-4 मिशन के हिस्से के रूप में अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) की यात्रा करेंगे, यह एक निजी वित्त पोषित अंतरिक्ष यात्रा है। यह मिशन भारत के बढ़ते अंतरिक्ष अभियानों के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है, जो राकेश शर्मा द्वारा 1984 में अंतरिक्ष यात्रा करने के बाद से भारतीय अंतरिक्ष यात्रा में एक नया अध्याय खोल रहा है।
अक्सियम-4 मिशन: भारत के लिए एक बड़ा कदम
शुभांशु शुक्ला की अंतरिक्ष यात्रा अक्सियम-4 मिशन का हिस्सा होगी, जो फ्लोरिडा के नासा के केनेडी स्पेस सेंटर से लॉन्च होगा। इस मिशन में चार सदस्यीय चालक दल होगा, जो स्पेसएक्स ड्रैगन अंतरिक्ष यान में यात्रा करेगा, जिसे फाल्कन 9 रॉकेट द्वारा शक्ति मिल रही होगी। अक्सियम-4 मिशन, ISS के लिए चौथा निजी अंतरिक्ष यात्री मिशन होगा। इस मिशन के कमांडर पूर्व नासा अंतरिक्ष यात्री पेगी व्हिट्सन होंगी, जो अब अक्सियम स्पेस के साथ काम करती हैं, और अन्य दो चालक दल के सदस्य पोलैंड के स्लावोश उज़नांस्की और हंगरी के टिबोर कापू होंगे, जो मिशन विशेषज्ञ के रूप में कार्य करेंगे।
भारत के अंतरिक्ष अन्वेषण प्रयासों के लिए एक बड़ी उपलब्धि
शुभांशु शुक्ला का इस मिशन में पायलट के रूप में कार्य करना भारत के अंतरिक्ष अन्वेषण प्रयासों के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने इस मिशन की तैयारी के लिए पिछले आठ महीने नासा और अक्सियम स्पेस के साथ तीव्र प्रशिक्षण लिया है। उनके पास अंतरिक्ष संचालन, उड़ान प्रोटोकॉल, और आपातकालीन तैयारी में विशेषज्ञता है, जो भारत के भविष्य के चालक दल वाले अंतरिक्ष मिशनों, जैसे गगनयान कार्यक्रम के लिए महत्वपूर्ण होगी। इस मिशन में भारत ने लगभग 60 मिलियन डॉलर का निवेश किया है, जो देश के अंतरिक्ष अन्वेषण के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
शुभांशु शुक्ला की पृष्ठभूमि:
लखनऊ से ताल्लुक रखने वाले समूह कप्तान शुभांशु शुक्ला ने 2006 में भारतीय वायु सेना में शामिल होकर खुद को एक सक्षम फाइटर पायलट और टेस्ट पायलट के रूप में स्थापित किया। 2,000 घंटे से अधिक की उड़ान और विभिन्न विमान जैसे Su-30MKI और MIG-29 में विशेषज्ञता के साथ शुभांशु शुक्ला ने एक प्रतिष्ठित करियर बनाया है। अपने साथियों में “गुंजन” के नाम से मशहूर शुभांशु शुक्ला तीन भाई-बहनों में सबसे छोटे हैं और उनके परिवार में वह पहले व्यक्ति हैं जिन्होंने सशस्त्र बलों में प्रवेश किया।
शुभांशु शुक्ला का चयन ISRO के मानव अंतरिक्ष उड़ान कार्यक्रम (HSP) के लिए किया गया है, जिससे वह गगनयान मिशन के प्रमुख दावेदारों में शामिल हो गए हैं, जो भारत का पहला मानव अंतरिक्ष मिशन होगा। अक्सियम-4 मिशन में उनकी यात्रा न केवल एक व्यक्तिगत उपलब्धि है, बल्कि भारत के लिए अंतरिक्ष अन्वेषण में एक महत्वपूर्ण कदम भी है, जो वैश्विक अंतरिक्ष अन्वेषण में भारत की भागीदारी को बढ़ाता है।